शिमला शहर में ट्रैफिक जाम की समस्या को कम करने के लिए एचआरटीसी ने सख्त कदम उठाया है। अब 40 किलोमीटर से अधिक दूरी से आने वाली सभी बसें पुराने बस अड्डे की बजाय सीधे आईएसबीटी टूटीकंडी तक सीमित रहेंगी। इस संबंध में उपायुक्त शिमला द्वारा अधिसूचना जारी कर दी गई है, जो तत्काल प्रभाव से लागू होगी। निर्णय के तहत कुल 18 रूटों की बसों को पुराना बस अड्डा प्रवेश से प्रतिबंधित किया गया है।
शिमला: शहर में लगातार बढ़ते ट्रैफिक दबाव को देखते हुए एचआरटीसी ने बड़ा कदम उठाया है। अब शिमला शहर से 40 किलोमीटर से अधिक दूरी से चलने वाली एचआरटीसी की बसें पुराने बस अड्डे (Old Bus Stand) तक नहीं आएंगी। इन बसों को सीधे आईएसबीटी टूटीकंडी (ISBT Tutikandi) भेजने के निर्देश जारी कर दिए गए हैं।

एचआरटीसी प्रबंधन ने इस संबंध में आधिकारिक आदेश जारी करते हुए बताया कि 18 रूटों की बसें अब पुराना बस अड्डे की जगह सीधे आईएसबीटी जाएंगी। इन रूटों में कुल्लू, नगरोटा, धर्मपुर, परवाणु, पावंटा, नालागढ़, जंगलबैरी, धर्मशाला, डाबर, मार्कंड, बिलासपुर, दियोठ, पट्टा, कुनिहार, लोहारघाट, साई-लढ़ेच और अणु से आने वाली बसें शामिल हैं।
निजी बस चालक-परिचालक संघ लंबे समय से इन बड़ी बसों के शहर में प्रवेश पर आपत्ति जता रहा था। संघ का कहना था कि लंबी दूरी की बसों की वजह से शहर के भीतर जाम की स्थिति बनती है और आम जनता को परेशानी होती है। इसी मुद्दे पर 12 अक्टूबर को परिवहन निदेशालय में बैठक हुई थी, जिसके बाद आरटीओ शिमला ने दिशा-निर्देश जारी किए थे।
हालांकि आदेशों की अनुपालना न होने पर निजी बस ऑपरेटर संघ ने 3 नवम्बर से हड़ताल पर जाने का फैसला लिया था। इसको देखते हुए उपायुक्त शिमला ने एक नवम्बर को अधिसूचना जारी कर दी, जो तत्काल प्रभाव से लागू हो गई है।
वर्तमान में शिमला शहर में एचआरटीसी की करीब 200 बसें और निजी क्षेत्र की 106 बसें संचालित होती हैं।

स्कूल ड्यूटी बसों पर भी नियम लागू
एचआरटीसी की स्कूल ड्यूटी पर लगी बसों को भी सख्त हिदायत दी गई है कि वे आधे रास्ते से सवारियां नहीं उठाएंगी। ये बसें हिमलैंड में एडवर्ड स्कूल, ताराहॉल, ऑकलैंड हाउस, चैप्सली और अन्य निजी स्कूलों के छात्रों को सेवा दे रही हैं। अब ये बसें केवल निर्धारित प्रारंभिक स्टेशनों - ढली, संजौली, मल्याणा, मैहली, पंथाघाटी, न्यू शिमला, फागली, टोटू, बालूगंज, समरहिल, भराड़ी आदि - से ही संचालित होंगी।
एचआरटीसी प्रबंध निदेशक निपुण जिंदल ने कहा कि “उपायुक्त शिमला की अधिसूचना के तहत लंबी दूरी की सभी एचआरटीसी बसें अब पुराना बस अड्डा नहीं जाएंगी और सीधे आईएसबीटी से ही संचालित होंगी।”
शहर में ट्रैफिक व्यवस्था सुधारने और हड़ताल की स्थिति को टालने के लिए यह फैसला लिया गया है। अब लंबी दूरी की बसें आईएसबीटी से ही चलेंगी, जिससे शहर के अंदर जाम की स्थिति में कमी आने की उम्मीद है।