आज हम आपको बताने जा रहे है शिमला की बेहद ही खूबसूरत इमारत के बारे में , जिसे देख आप देखतें ही रहे जायेंगे ! जी हाँ , वैसे तो पुरें प्रदेश में खूबसूरत इमारतों की कमी नहीं है। लेकिन कुछ इमारतें ऐसी भी होती है जिन्हें देखकर प्रदेश का नाम अन्य राज्यों में ही नहीं अपितु अंतराष्ट्रीय स्तर पर ऊँचा होता है । आपको बता दे कि शिमला टाउन हाल जीर्णोद्वार के बाद बहुत खुबसूरत व् शानदार दिखने वाला है । जैसा की आप सभी जानतें है कि टाउन हॉल शिमला शहर की एक प्रसिद्ध विरासत इमारत है जिसका निर्माण सन् 1908 में किया गया था, वर्तमान में इसका जीर्णोद्धार किया जा रहा है, यह इमारत जो मॉल रोड पर स्थित है औपनिवेशिक वास्तुकला की गौरवमयी शैली का प्रतिनिधित्व करती है। चंद दिनों में इस इमारत का मुरमत कार्य सम्पन होने वाला है । देखिये तस्वीरे, कैसा दिखने वाला है टाउन हाल का नया स्वरूप –
खुबसूरत लाइटिंग( रोशनी) में नहा रही 110 साल पुरानी इमारत
शिमला : (हिमदर्शन समाचार ब्यूरो ); शिमला के मॉल पर स्थित ऐतिहासिक टाउन हॉल के जीर्णोद्धार का कार्य लगभग पूरा होने को जा रहा है। शिमला शहर की अंतरराष्ट्रीय पहचान है और विश्व मानचित्र पर शिमला विशेष स्थान रखता है क्योंकि अंग्रेजों की ग्रीष्मकालीन राजधानी से लेकर स्वतंत्रता संग्राम और उसके बाद विभिन्न ऐतिहासिक मौकों की यादें शिमला से जुड़ी हैं। इसलिए न्यायालय ने एशियन डेवलपमेंट बैंक व पर्यटन विभाग के किए पत्राचार के अवलोकन के बाद पाया कि यह इमारत पूर्णतया अपने वास्तविक स्वरूप में ही रहे तथा नगर निगम शिमला व हेरिटेज कमेटी ने इसके नक्शे को अनुमोदित किया था।
जीर्णोद्वार के बाद खुबसूरत लाइटिंग से रोशन होगा टाउन हाल
कार्य पूरा होने के बाद इस ऐतिहासिक इमारत का जनहित के लिए इस्तेमाल –
एशियन डेवलपमेंट बैंक मिशन द्वारा बीते वर्ष अक्टूबरअक्टूबर में इस इमारत का निरीक्षण किया गया था । बैंक ने पर्यटन विभाग से माग की थी कि कार्य पूरा होने के बाद इस इमारत का जनहित के लिए इस्तेमाल किया जाना चाहिए, न की किसी भी कार्यालय के लिए। न्यायालय के समक्ष पेश शपथ पत्र का अवलोकन करने के पश्चात यह भी पाया गया कि इस प्रोजेक्ट में आठ करोड़ से अधिक का पैसा खर्च किया जा चुका है। जनहित की सुविधा की दृष्टि व पुस्तकालय के उद्देश्य से इस इमारत का उपयोग किया जा सकता है।
गौरतलब है कि राजधानी की शान में चार चांद लगाने वाला और इतिहास की गवाही देता यह टाउन हॉल का नया रूप जीर्णोद्वार के बाद स्थानीय जनता और पर्यटकों को देखने को मिलेगा। इस ऐतिहासिक इमारत में लाइटिंग (बिजली ) और लकड़ी का कार्य बेहद ही खुबसूरत तरीकें से करवाया गया है। गौर रहे कि टाउन हॉल के जीर्णोद्धार के काम में लगभग 8 करोड़ रुपए की लागत बताई जा रही है और यह प्रोजेक्ट अपने तय शेड्यूल से काफी सालों बाद पूरा होने जा रहा है। टाउनहॉल के जीर्णोद्धार कार्य पूरा होने के बाद इसके उपयोग कौन करेगा इसके कब्जे को लेकर जंग अब चरम पर पहुंचती जा रही है।
देश व प्रदेश से आए पर्यटकों व स्थानीय लोगों को मिले उपयुक्त स्थान –
टाउन हाल एटिक फ्लोर
शिमला के स्थानीय लोगों की हिमाचल सरकार से मांग की है कि ऐतिहासिक भवन को नगर निगम के दफ्तर में न तबदील किया जाए, बल्कि इस प्राचीन धरोहर में पुस्तकालय, बुक कैफे, वरिष्ठ नागरिकों और बच्चों के लिए पढ़ने लिखने के लिए कक्ष स्थापित किए जाएं। जिससे देश विदेश से आये पर्यटकों, हिमाचल के लेखकों, कलाकारों, रंग कर्मियों को उपयुक्त स्थान मिलेगा।
टाउन हाल इमारत में एटिक फ्लोर का नया स्वरूप
ऐतिहासिक इमारत में न हो कोई भी सरकारी कार्यालय –
शिमला निवासी उधम सिंह ठाकुर, मनु अग्रवाल, अनिल, राजीव चौहान, मनोहर कौंडल, ओपी ठाकुर और प्रेम लता ठाकुर का कहना है कि ऐतिहासिक इमारत टाउन हॉल को अगर जीर्णोद्धार के बाद सहज कर रखना है तो इसका रखरखाव का जिम्मा पर्यटन विभाग को दे तथा इस ऐतिहासिक इमारत में कोई भी कार्यालय खोलने के बजाय इसे जनहित में इस्तेमाल करने के लिए राज्य म्यूसियम, राज्य पुस्तकालय व पर्यटन की दृष्टि से विकसित किया जाए। लोगों का मानना है कि अगर जीर्णोद्धार पूरा होने के बाद इस ऐतिहासिक इमारत को किसी भी सरकारी कार्यालय में तब्दील किया गया तो इस ऐतिहासिक इमारत का वजूद बरकरार नही रह पाएगा अर्थात इस एतिहासिक इमारत को फिर से खंडहर बनने में देरी नहीं लगेगी ।
शिमला टाउन हॉल की बेहद हि खुबसूरत तस्वीर
शिमला में कई ऐसे ऐतिहासिक स्थान व इमारते हैं, जिन्हें पर्यटन की दृष्टि से विकसित करने की अपार संभावनाएं हैं । राज्य में आने वाले पर्यटक ही नही अपितु स्थानीय लोग भी ऐसे स्थानों से अंजान हैं। देव भूमि हिमाचल प्रदेश ऐतिहासिक, सांस्कृतिक विरासत की दृष्टि से धनी है तथा सुन्दर प्राकृतिक भूदृश्यों से युक्त है केवल आवश्यकता है तो इनकी पर्यटन उद्योग के संसाधनों के रूप में विकसित करने की ।
ऐतिहासिक इमारत “टाउन हाल” को मिला नया स्वरूप
"हिमदर्शन समाचार"शिमला, हिमाचल प्रदेश